
आओ मेरी सखियों, मुझे मेंहदी लगा दो
मेंहदी लगा दो, मुझे सुन्दर सजा दो
मुझे श्याम सुन्दर की दुल्हन बना दो |
सत्संग में मेरी बात चलाई,
सदगुरू ने मेरी कीन्हीं सगाई
उनको बुला के हथ लेवा तो करा दो ||1||
ऐसी पहनू चूड़ी जो कबहुँ नहीं टूटे
ऐसा वरूँ दुलहा जो कबहुँ नहीं छूटे
अटल सुहाग की बिंदिया लगा दो ||2||
भक्ति का सुरमा मैं आँखों में लगाऊँगी
दुनियां से नाता तोड़ा उनकी हो जाऊँगी
सदगुरू को बुला के मेरे फेरे तो पड़वा दो.||3||
बाँध के घंधरू मैं उनको रिझाऊँगी
लेके इकतारा मैं श्याम-श्याम गाऊँगी
सखियों को बुला के मेरी विदा तो करा दो||4||
''जय श्री राधे कृष्णा ''
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