
मेरे घर आजा तेरा लाड़ लडाऊं ,
माखन और मिश्री का भोग लगाऊं
मीठे मीठे भजनों से तुझको रिझाऊ |
बैठा हूँ कन्हैया कबसे तेरे इंतज़ार में
दीवाना बना हूँ मोहन बस तेरे प्यार में
कब आवोगे मैं तो शगुन मनाऊं ||१||
अपने दीवाने को ना ज्यादा तरसाओ
आवो कन्हैया आवो दरस करवाओ
चरण दबाऊं तेरे चंवर डूलाऊं ||२|
कबसे खड़ा हूँ तेरे दरस का प्यासा
पूरी करो कन्हैया मेरे मन की आशा
नज़रें उतारूँ तुझको पलकों में बिठाऊं ||३||
''जय श्री राधे कृष्णा ''
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