
बंसी बजाई आपने,दिल को हिला दिया
प्यासे थे हम युगों से,अमृत पिला दिया||
मोहित किया हैं इस तरह,जनाब ने,
कुछ होश बाकी न रहा ,जादू चला दिया||1||
वो साँवरी सी सूरत , दिल में समा गई
सोया हुआ जो इश्क था,पल में जगा दिया||2||
मदहोश हो चुके हैं हम,नहीं दिल की भी खबर
जो कुछ भी था हमारा,सब कुछ चढा दिया||3||
'दासी' की भी ले खबर,क्यों हो गए खफा
मेरे दिल में अब तो आपने,घर को बसा लिया||4||
''जय श्री राधे कृष्णा ''
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