
धुन - कान्हूड़ा लाल
कन्हैया तुमको देख कर , दिल झूम जाता है
झूम जाता है मेरा दिल झूम जाता है || टेर ||
बाँकी अदायें मेरा चैन चुराए
तेरी प्यारी बतियाँ , मन को लुभाए
मेरे हमदम तू हरदम , याद आता है || १ ||
कैसा ये रिश्ता , तुम्हारा हमारा
अपना समझ के बाबा , जब भी पुकारा
चहरा आँखों के आगे , घूम जाता है || २ ||
दीवाना बनाने की , कला जानते हो
दीवाना बना कर , ही मानते हो
" बनवारी " दिल तेरे ही , गीत गाता है || ३ ||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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