
चरण कमल तेरे धोए धोए पीवां मेरे ,
सतगुरु दीन दयाला|
कुर्बान जाऊं उस वेला सुहावा जित तुम्हरे द्वारे आया
पार ब्रह्मा परमेश्वर सतगुरु आपे कर नेहारा
चरण धूल तेरे सेवक मांगे तेरे दर्शन को बलेहारा||1||
मेरे राम राये ज्यों राखे,त्यों रहिये
तुद पावे ता नाम जपांवे सुख तेरा देता लहिए
तहाँ बैकुंठ जहाँ कीर्तन तेरा तू आपे सारधा लावे
मुकत भुगत जुगत तेरी सेवा जिसे तू आप करावे ||2||
सिमर सिमर सिमर नाम जिव्हा मेरो तनमन होए निहाला ,
नानक कहे प्रभ भज किरपाल सतगुरु पूरा पाया,
चरण कमल तेरे धोए धोए पीवां मेरे सतगुरु दीन दयाला ||3||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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