
श्री राधा चरण परम सुखदाई ।
जिन चरणन पडत रहत नन्द~नंदन,
करत रहत सेवकाई ||
जिन चरणन की स्तुति करत है,
शेष शारद ना अघाई |
सब सखियन की परम दुलारी,
नित प्रति लाड़ लड़ाई ||1||
सब अधमन कु तारत है,
जो एक बर टेर लगाईं ।
यशोदा~नन्दन प्यारी राधे,
बार बार बलि जाई ||2||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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