
ओ बाँके बिहारी जी
ओ गिरिवर धारी जी
तुमसे ही लागे मेरे नैना|
अपना हो या हो बेगाना
अपना पराया काम न आया
ओ रास बिहारी जी
ओ गिरिवर धारी जी
तुमसे ही लागे मेरे नैना
ओ प्रीतम प्यारे तुमसे
ओ चंद्र दुलारे जी तुमसे ।।1।।
जग से नाता तोड़ लिया है
तुमसे नाता जोड़ लिया है
ओ बाँके बिहारी जी
ओ कुंज बिहारी जी
तुमसे ही लागे
ओ चन्द्र दुलारे
ओ प्राण प्यारे तुमसे ।।2।।
वृन्दावन में मैं बस जाऊँ
कृपा करो तो मैं दर्शन पाउँ
ओ मदन मुरारी जी
ओ छैल बिहारी जी
तुमसे ही लागे नैना ।।3।।

जै श्री राधे कृष्ण
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श्री कृष्णायसमर्पणं
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