
श्री श्याम राधिका गाऊँ री किशोरी राधे ,
चरणन शीष नवाऊँ री किशोरी राधे |
मधुर-माधुरी जोड़ी निहारूँ ,
लीला-कथा-कृपा मन में विचारुँ ,
भक्त-संत संग लाभ बटोरूँ ,
जीवन फल मैं पाऊँ किशोरी राधे ||1||
श्यामसुन्दर की मुरली मनोहर ,
श्रीजी की प्यारी ललिता सखी जी ,
सब ब्रजवासी अरु निज परिकर ,
श्री गुरु कृपा फल पाऊँ री किशोरी राधे ||2||
लखि मुष्कान मधुर प्रिया-प्रियतम ,
केलि कुञ्ज की सेवा अनुपम ,
रास-विलास के दर्शन लेकर ,
कुञ्ज बिहारी रस गाऊँ री किशोरी राधे ||3||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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