
तेरा भगत अकेला कह दे, दुःखड़ो को कैसे झेले
कही डूब न जाये बाबा, अब तो आके सुध ले ले
श्याम आओ, श्याम आओ, श्याम आओं, श्याम
श्याम आओ, श्याम आओ, श्याम आओं, श्याम
मजबूर हुआ हूँ कितना, जग को कैसे बतलाऊं
दिल चोर नहीं है मेरा, कैसे विश्वास दिलाऊं
मेरी बंद पड़ी किस्मत के, अब तू ही खोले ताले ||1||
तेरी दातारी के किस्से, दुनिया से सुने है दाता
अब महर करे तो जाणु, हारे का तू साथ निभाता
तेरा 'हर्ष' अकेला कह दे, दुःखड़ो को कैसे झेले ||2||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
0 Comments: