
घर में हमारे कान्हा, एक बार आजाओ.....
दो पल के लिए ही सही, एक बार आजाओ.
पलको पे रखेंगे, दिल में बिठाएँगे,
स्वागत में तुम्हारे, खुद को बिछायेंगे,
मेहमान नवाजी हमारी, स्वीकारने आजाओ ||1||
रोटी बिना घी की, है साग सरसों का,
इसमे मिलाया है, प्रभु प्यार बरसों का,
कुटिया को धन्य बनाने, सरकार आजाओ ||2||
सबरी के झूठे बेर, आये थे तुम खाने,
मीरा से जो था प्रेम, आये थे निभाने,
हम भी है प्रेम दीवाने, एक बार आजाओ ||3||
ये प्रेम निवेदन है, स्वीकार करो कान्हा,
भगत कहे हम पे, उपकार करो कान्हा,
भगतो का मान रखने, सरकार आजाओ ||4||
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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