
`तर्ज़-रसिया/म्हारा खाटू वाला श्याम,
`तर्ज़-रसिया/म्हारा खाटू वाला श्याम,
हम आये तेरे द्वार, हाँ द्वार
माँ हमको दरश दिखा दो ना
हमें दे दो थोड़ा प्यार, हाँ प्यार
माँ हमको गले लगा लो ना |
हम शरण तुम्हारी आये हैं
चरणों में शीश झुकाये हैं
हमे करलो माँ स्वीकार, स्वीकार
माँ हमको आशीष दे दो ना ||1||
तुमसे ही मन के तार जुड़े
तुमसे मन की हर बात कहे
क्योंकि हमरा है अधिकार, अधिकार
माँ बात हमारी सुन लो ना ||2||
तुम ही तो जग की माता हो
हम सबकी भाग्य विधाता हो
नही करना माँ इन्कार, इन्कार
*"रवि"* कहता झोली भर दो ना ||3||
*रविन्द्र केजरीवाल " रवि " कोलकाता*
जय श्री राधे कृष्ण
श्री कृष्णाय समर्पणम्
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